मुख्य शिक्षक रूपेंद्र गोयत, दीपक शर्मा उचाना, ऋषिपाल गुप्ता, आनंद सिंह,
पवन, राजेंद्र सिंह ढांगी ने बताया कि नेशनल अचीवमेंट सर्वे के तहत
प्राइमरी मिडल स्कूलों में तीसरी, पांचवीं आठवीं कक्षा के विद्यार्थियों के
लिए परीक्षा होनी है।
जिसके प्रश्न-पत्र लेने के लिए गुरुवार को डीपीसी कार्यालय जींद में बुलाया गया था। इसमेें सर्वे से संबंधित स्कूलों को ही बुलाया गया था लेकिन जब स्कूलों से आए मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को मीटिंग से यह कहकर बाहर निकाला गया कि संबंधित स्कूलों के डीडीओ ही मीटिंग में हिस्सा ले सकते हैं। यह कहकर मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को अपमानित किया गया। इस घटना से सभी प्राइमरी मुख्य शिक्षकों इंचार्जों में गहरा रोष है, जबकि संबंधित डीडीओ ने ही इन मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को भेजा था तथा विभाग ने स्पष्ट निर्देश जारी नहीं किए। जबकि डीपीसी के लेटर में संबंधित स्कूल के हेड को भेजने के आदेश थे।
विभाग को चाहिए कि स्पष्ट दिशा-निर्देश दिए जाएं ताकि अध्यापकों का अपमान हो। प्राथमिक शिक्षक संघ के जिला महासचिव प्रदीप खटकड़ एवं राजेश खर्ब ने अधिकारियों के इस तरह के रवैये की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि अध्यापक इस प्रकार के अपमान को कभी सहन नहीं करेंगे। उन्होंने मांग की है कि भविष्य में इस प्रकार के कार्यक्रम ब्लॉक स्तर पर किए जाएं, ताकि अध्यापकों को दूर-दूर से आने में कोई परेशानी हो।
जिसके प्रश्न-पत्र लेने के लिए गुरुवार को डीपीसी कार्यालय जींद में बुलाया गया था। इसमेें सर्वे से संबंधित स्कूलों को ही बुलाया गया था लेकिन जब स्कूलों से आए मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को मीटिंग से यह कहकर बाहर निकाला गया कि संबंधित स्कूलों के डीडीओ ही मीटिंग में हिस्सा ले सकते हैं। यह कहकर मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को अपमानित किया गया। इस घटना से सभी प्राइमरी मुख्य शिक्षकों इंचार्जों में गहरा रोष है, जबकि संबंधित डीडीओ ने ही इन मुख्य शिक्षकों इंचार्जों को भेजा था तथा विभाग ने स्पष्ट निर्देश जारी नहीं किए। जबकि डीपीसी के लेटर में संबंधित स्कूल के हेड को भेजने के आदेश थे।
विभाग को चाहिए कि स्पष्ट दिशा-निर्देश दिए जाएं ताकि अध्यापकों का अपमान हो। प्राथमिक शिक्षक संघ के जिला महासचिव प्रदीप खटकड़ एवं राजेश खर्ब ने अधिकारियों के इस तरह के रवैये की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि अध्यापक इस प्रकार के अपमान को कभी सहन नहीं करेंगे। उन्होंने मांग की है कि भविष्य में इस प्रकार के कार्यक्रम ब्लॉक स्तर पर किए जाएं, ताकि अध्यापकों को दूर-दूर से आने में कोई परेशानी हो।